कृष्ण भजन- ठुमक चलत रामचंद्र
।। स्थाई ।।
ठुमक चलत रामचंद्र
(ठुमक चलत रामचंद्र, बाजत पैंजनियां)2
ठुमक चलत रामचंद्र
।। अंतरा ।।
1) (किलकि-किलकि उठत धाय)2
गिरत भूमि लटपटाय
धाय मात गोद लेत, दशरथ की रनियां
--(ठुमक चलतऽ बाजत पैंजनियांऽऽ
ठुमक चलत रामचंद्र)
2) (अंचल रज अंग झारि)2
(विविध भांति सो दुलारि)2
(तन मन धन वारि-वारि)3,
कहत मृदु बचनियां
--(ठुमक चलतऽ बाजत पैंजनियांऽऽ
ठुमक चलत रामचंद्र)
3) (विद्रुम से अरुण अधरऔ)2
(बोलत मुख मधुर-मधुर)2
सुभग नासिका में चारु, लटकत लटकनियां
--(ठुमक चलतऽ बाजत पैंजनियांऽऽ
ठुमक चलत रामचंद्र)
4) (तुलसीदास अति आनंद)2
(देख के मुखारविंद)2
(रघुवर छबि के समान)2
रघुवर छबि बनियां
--(ठुमक चलतऽ बाजत पैंजनियांऽऽ
ठुमक चलत रामचंद्र)
-------पुनः------
ठुमक चलत
ठुमक चलत रामचंद्र
ठुमक चलत रामचंद्र, बाजत पैंजनियां
ठुमक चलत रामचंद्र
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